उत्तराखंड
उत्तराखंड (नैनीताल) यहां पुलिस और वन विभाग आमने-सामने, ये है पूरा मामला
नैनीताल जनपद के रामनगर में वन विभाग और पुलिस ने संयुक्त कार्रवाई कर अवैध खनन में लिप्त एक छोटा हाथी (टाटा वाहन) को पकड़ा। छोटा हाथी को कोतवाली में खड़ा किया गया था। यहां वाहन का चालान करते हुए पुलिस ने उसे छोड़ दिया।
वाहन को छोड़ने पर वन विभाग ने आपत्ति जताई है। वन विभाग की माने तो छोटा हाथी को वन क्षेत्र से पकड़ा गया था और उसे छोड़ने का अधिकार वन विभाग के पास है।
तराई पश्चिमी वन प्रभाग के रामनगर रेंज के रेंजर जेपी डिमरी ने बताया शनिवार को पूछड़ी क्षेत्र में छोटा हाथी से अवैध रूप से उपखनिज ले जा रहा था। विभाग की टीम ने (यूके 04 सीए 4792) को पकड़ लिया। स्थिति की गंभीरता को देखते हुए पुलिस को मौके पर बुलाया गया।
पुलिस ने पकड़े गए वाहन को कोतवाली में खड़ा करा दिया। वहीं वन विभाग की ओर से मामले में भारतीय वन अधिनियम 1927 यथा उत्तरांचल संशोधन 2001 की धारा 26 के तहत एसटू केस काटा गया। रविवार को जब वन कर्मी कोतवाली पहुंचे तो वहां पर छोटा हाथी नहीं था। जानकारी लेने पर पता चला कि पुलिस ने चालान कर वाहन को छोड़ दिया है।
वन विभाग और पुलिस की संयुक्त कार्रवाई में वाहन को पकड़ा गया था। यदि वन विभाग वाहन को पकड़ता तो उसे वन परिसर में खड़ा कराना चाहिए था। कोतवाली में खड़े वाहन के कागजात देखकर उसका चालान कर छोड़ दिया गया।
– बीएस भंडारी, सीओ, रामनगर।
उक्त वाहन को सिपाही कोतवाली लेकर आए थे। मगर वन विभाग के लोग कोतवाली नहीं पहुंचे। इसलिए वाहन का चालान कर उसे छोड़ दिया गया था।
अरुण सैनी, कोतवाल, रामनगर
छोटा हाथी को वन क्षेत्र में पकड़ा गया था और उसका एसटू केस काटा गया था। ऐसे में पुलिस उस वाहन नहीं छोड़ सकती है। पुलिस ने वन विभाग को वाहन सौंपना चाहिए था इस संबंध में उच्च अधिकारियों को शिकायती पत्र लिखा जाएगा
– प्रकाश चंद्र आर्य, डीएफओ, तराई पश्चिमी वन प्रभाग।
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